कवर्धा – जिले के प्रसिद्ध रामायण व तबला वादक मनोहर साहू (63 वर्ष) का 30 अगस्त की शाम अचानक हृदयघात से निधन हो गया। वे कलेक्टर कार्यालय में आयोजित एक सांस्कृतिक कार्यक्रम के दौरान ही प्रस्तुति दे रहे थे, तभी उनकी तबीयत बिगड़ गई और वे दुनिया को अलविदा कह गए।

मनोहर साहू का पार्थिव शरीर उनके पैतृक गांव कुआमालगी लाया गया था। प्रारंभिक रूप से वहीं अंतिम संस्कार की तैयारी थी, लेकिन परिजनों ने उनकी भावना का सम्मान करते हुए अंतिम संस्कार बनारस में 01 सितंबर को करने का निर्णय लिया।
स्व. मनोहर साहू अपने पीछे भरा-पूरा परिवार छोड़ गए हैं। वे इंजीनियर छत्रपाल साहू व परमेश्वर साहू के पिता और श्रीमती सोनबती नरेश साहू एवं श्रीमती कंचन दिलीप साहू के पिता थे। इसके अलावा वे पूर्व सांसद प्रतिनिधि व भाजपा नेता नरेश साहू तथा ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी दिलीप साहू के ससुर भी थे।
मनोहर साहू पिछले 20–25 वर्षों से न केवल कबीरधाम जिले में, बल्कि छत्तीसगढ़ के अलग-अलग जिलों में रामायण, तबला और पेटी वादन की प्रस्तुतियों के लिए लोकप्रिय रहे। इसके पहले वे लंबे समय तक छत्तीसगढ़ नाच पार्टी से जुड़े रहे और प्रदेशभर में छत्तीसगढ़ी सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति दी। उनका संपूर्ण जीवन छत्तीसगढ़ की संस्कृति और अध्यात्म को समर्पित रहा।
उनके निधन की खबर मिलते ही सांस्कृतिक जगत और स्थानीय समाज में शोक की लहर है। लोगों ने उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए उनके योगदान को अविस्मरणीय बताया।



